महात्मा गौतम बुद्ध की विश्व की दूसरी सबसे ऊंची मूर्ति देव नी मोरी, साबरकांठा जिले, गुजरात (Dev Ni Mori, Sabarkantha district, Gujarat) में बनाने का प्रस्ताव है।
यह प्रस्तावित प्रतिमा (108 meter) चीन में स्प्रिंग टेम्पल (153 meter) के बाद दुनिया में महात्मा गौतम बुद्ध की दूसरी सर्वाधिक ऊँची प्रतिमा होगी।
देव नी मोरी की प्रासंगिकता (Relevance of Dev Ni Mori)
देव नी मोरी की खुदाई राज्य पुरातत्व विभाग द्वारा 1953 में की गयी थी।
तीसरी-चौथी शताब्दी ईस्वी से संबंधित बौद्ध मठ के अवशेष देव नी मोरी (Dev Ni Mori) से प्राप्त हुए है।
इस स्थल से प्राप्त बुद्ध के अवशेष लगभग 1,700 साल पुराने ताबूत से प्राप्त हुए हैं। इस शिलालेख में स्पष्ट रूप से उल्लेख है कि ताबूत में बुद्ध के अवशेष हैं।
यहाँ से प्राप्त स्तूप और मठ की उपस्थिति ने वडनगर में ईसाई युग की प्रारंभिक शताब्दियों के दौरान बौद्धों की एक मजबूत उपस्थिति को पुन: पुष्टि की है।
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- गुजरात के वडनगर (Vadnagar) में हाल ही में हुई खुदाई से दूसरी-सातवीं शताब्दी ईस्वी से संबंधित बौद्ध मठ का पता चला है।
- मठ में दो विशाल स्तूप और एक खुला केंद्रीय प्रांगण था जिसके चारों ओर शुरू में नौ कक्षों का निर्माण किया गया था। केंद्रीय आंगन के चारों ओर कोशिकाओं की व्यवस्था एक स्वस्तिक जैसा पैटर्न बनाती है।
Note:
- स्टैच्यू ऑफ यूनिटी (Statue of Unity), नर्मदा घाटी केवडिया, नर्मदा जिले, गुजरात में स्थित 182 मीटर (597 फीट) की विश्व की सबसे ऊंची मूर्ति है।