भारत की स्थिति और विस्तार

भारत की स्थिति व विस्तार अक्षांशीय विस्तार  8°4′  उत्तरी अक्षांश से 37°6′  उत्तरी अक्षांश  के मध्य है। देश का पश्चिम में गुहार मोती (गुजरात ) से पूर्व में किवी-थू (अरुणाचल) में है। देशांतरीय विस्तार  68°7 ′ पूर्वी देशांतर से 97° 25′  पूर्वी देशांतर के मध्य है। देश का दक्षिणतम छोर इन्दिरा पाइंट (अंडमान और निकोबार ) तथा उत्तरी छोर  इंदिरा कॉल (जम्मू कश्मीर ) में है। आकार…

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भारत का भौतिक विभाजन

भारत को भौगोलिक स्तिथि के पर आधार  निम्नलिखित वर्गों में विभाजित किया जा सकता है हिमालय पर्वत शृंखला (Himalaya Range) उत्तरी मैदान (Northan Plain) प्रायद्वीपीय पठार (Peninsular Pleatue) भारतीय मरुस्थल (Indian Desert) तटीय मैदान (Coastal Plain) हिमालय पर्वत भौतिक विभाजन भारत की उत्तरी सीमा पर विस्तृत हिमालय भूगर्भीय रूप से युवा एवं बनावट…

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सूर्य ग्रहण (Solar Eclipse)

26 दिसंबर 2019 को, भारत ने 0.97 परिमाण (magnitude) का एक सूर्यग्रहण ( solar eclipse) देखा, जिसकी  अवधि  अधिकतम 3 मिनट और 39 सेकंड की थी। केरल, कर्नाटक और तमिलनाडु के कुछ हिस्सों में “रिंग ऑफ़ फायर” सूर्य ग्रहण की पूरी झलक दिखाई दी। ‘रिंग ऑफ फायर’ कुंडलाकार सूर्यग्रहण की…

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मानसून की उत्पत्ति का जेट स्ट्रीम सिद्धांत

मानसून की उत्पत्ति के जेट स्ट्रीम सिद्धांत का प्रतिपादन येस्ट (Yest) द्वारा किया गया है। जेट स्ट्रीम हवाएं ऊपरी वायुमण्डल (9-18 किमी.) के बीच अति तीव्रगामी वायु प्रवाह प्रणाली है। मध्य भाग में इसकी गति अधिकतम (340 किमी./घंटा) होती है। ये हवाएँ पृथ्वी के ऊपर एक आवरण का कार्य करती…

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भारतीय मानसून की उत्पत्ति के प्रमुख सिद्धांत

भारतीय कृषि (Indian Agriculture) मुख्यत: मानसून (Monsoon) पर आधारित है, मानसून की उत्पत्ति के संबंध में विभिन्न विद्वानों ने अनेक संकल्पनाएँ प्रस्तुत की गयी। मानसून की उत्पत्ति की दो प्रमुख संकल्पनाएँ निम्नलिखित है – तापीय संकल्पना नवीन संकल्पना तापीय संकल्पना इस संकल्पना के अनुसार, मानसून की उत्पत्ति (monsoon originates) स्थल…

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मानसून की उत्पत्ति का विषुवतीय पछुआ पवन सिद्धांत

मानसून की उत्पत्ति के विषुवतीय पछुआ पवन सिद्धांत (equatorial westward wind theory) का प्रतिपादन फ्लोन (Flon) द्वारा किया गया है। इस सिद्धांत के अनुसार, विषुवतीय पछुआ पवन को ही दक्षिण-पश्चिम मानसूनी पवन भी कहा जाता है। जिसकी उत्पत्ति अंत: ऊष्णकटिबंधीय अभिसरण क्षेत्र (Inter tropical Convergence Zone – ITCZ) के द्वारा…

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मानसून की उत्पत्ति का एल नीनो (El Niño) सिद्धांत

एल नीनो (El Niño) की उत्पत्ति लगभग 3 से 8 वर्षों के अंतराल में पूर्वी प्रशांत महासागर ( Eastern Pacific Ocean) के पेरू तट (Peru coast) से होती है। एलनिनो की उत्पत्ति के समय महासागरों तथा वायुमण्डल की सामान्य दशाओं में एक विशिष्ट परिवर्तन होता है। पेरू के तट  पर हमबोल्ट…

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मानसून की उत्पत्ति का तापीय सिद्धांत

मानसून की उत्पत्ति के तापीय सिद्धांत के अनुसार, मानसूनी पवनों (Monsoon winds) की उत्पत्ति का प्रमुख कारण ताप (Heat) है। ग्रीष्म ऋतु में सूर्य की किरणें उत्तरी गोलार्द्ध में लम्बवत (Perpendicular) पड़ती हैं। जिससे उत्तरी गोलार्द्ध में वृहत निम्न दाब (Low Pressure) का निर्माण होता है, जिसके कारण उत्तर-पूर्वी व्यापारिक…

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भारत की अंतरराष्ट्रीय सीमाओं का निर्धारण

भारत और पाकिस्तान के मध्य अंतर्राष्ट्रीय सीमा निर्धारण  भारत और पाकिस्तान के मध्य अंतर्राष्ट्रीय सीमा पूर्णतः स्थलीय एवं कृत्रिम है, जो कश्मीर (Kashmir) से प्रारंभ होकर पंजाब (Punjab), पश्चिमी राजस्थान (Western Rajasthan) और कच्छ (Kutch) प्रदेश तक विस्तृत है। पाकिस्तान द्वारा कश्मीर के कुछ भू-भाग पर अवैध रूप से अधिकार…

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चक्रवात एवं प्रतिचक्रवात (Cyclone and Anticyclone)

चक्रवात (Cylone) चक्रवात का संबंध निम्न वायुदाब के केन्द्र से  हैं, जिनके चारों तरफ समर्केन्द्रीय समवायुदाब रेखाएँ विस्तृत होती हैं तथा केन्द्र से बाहर की ओर वायुदाब बढ़ता जाता है। परिणाम स्वरूप बाहर (परिधि) से केन्द्र की ओर हवाएँ चलने लगती है। हवा की दिशा उत्तरी गोलार्द्ध में घड़ी के…

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