रेशम कीट पालन (Sericulture)

रेशम उत्पादन के लिए रेशम के कीड़ो को पाला जाता है, यह कार्य नवपाषाण काल से ही किया जा रहा है। बॉम्बेक्स मोरी (Bombyx mori) सबसे अधिक व्यापक रूप से इस्तेमाल की जाने वाली एक व्यावसायिक प्रजाति है।
Note:  

  • विश्व में सर्वप्रथम रेशम का उत्पादन चीन में शुरू किया गया था।
  • विश्व में प्राकृतिक रूप से रेशम के उत्पादन में चीन का प्रथम स्थान है तथा रेशम उत्पादन में भारत का दूसरा स्थान है।

रेशम कीट की 5 वाणिज्यिक प्रजातियाँ है, इन सभी प्रजातियों से रेशम उत्पादन करने वाला भारत एकमात्र देश है।

  1. शहतूत (Mulberry)
  2. ओक तसर (Oak Tasar)
  3. उष्णकटिबंधीय तसर(Tropical Tasar)
  4. मूगा (Muga)
  5. इरी (Eri)

वर्ष 1949 में रेशम उद्योग को प्रोत्साहन देने के लिए केंद्रीय रेशम बोर्ड (Central Silk Board) की स्थापना की गयी।
वर्ष 1943 में केंद्रीय रेशम अनुसंधान प्रक्षेत्र बहरामपुर (पश्चिम बंगाल) की स्थापना की गयी।
केंद्रीय इरी अनुसंधान संस्थान (Central Eri Research Institute) की स्थापना मेन्दीपाथर (मेघालय) में की गयी है।
केंद्रीय टसर अनुसंधान प्रशिक्षण संस्थान (Central Tussar Research Training Institute) की स्थापना रांची (झारखंड) में की गयी है।
रेशम का धागा, प्रोटीन जबकि कपासजूट का सूत, सेल्यूलोज होता है।

1 Comment

Leave a Reply

Your email address will not be published.

Latest from Blog

गति (Motion)

गति (Motion) जब कोई वस्तु समय के साथ अपनी स्थिति में परिवर्तन करती है, तो वस्तु…